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MP में 1 मई से 18 वर्ष के अधिक आयु वालों के वैक्सिनेशन पर अभी ब्रेक

MP में 1 मई से 18 वर्ष के अधिक आयु वालों के वैक्सिनेशन पर अभी ब्रेक

भोपाल। प्रदेश में एक मई से 18 वर्ष से अधिक आयु के व्यक्तियों का टीकाकरण प्रारंभ नहीं होगा। टीका कंपनियों से टीका नहीं मिलने की वजह से अभियान को आगे बढ़ाया जाएगा। तीन मई तक टीके मिलने की संभावना जताई गई है, इसलिए टीकाकरण कार्यक्रम इसके बाद घोषित होगा। यह बात मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने टीकाकरण की वीडियो कांफ्रेसिंग के माध्यम से समीक्षा करते हुए कही। 45 वर्ष से अधिक आयु के व्यक्तियों को टीका लगाने का काम पहले की तरह चलता रहेगा।

प्रदेश में एक मई से 18 वर्ष से अधिक आयु वाले व्यक्तियों का कोरोना टीका लगाने का अभियान शुरू किया जाना था। सरकार ने इसके लिए तैयारियां कर ली थीं। कोविशील्ड टीके के 45 लाख डोज खरीदने के आदेश भी दिए जा चुके हैं।

प्रदेश में 3.22 करोड़ से अधिक नागरिकों को टीका लगना है। इस पर सरकार लगभग 2,710 करोड़ रुपये खर्च करेगी। बैठक में बताया गया कि टीका निर्माता कंपनियों से टीके अभी प्राप्त नहीं हुए हैं। इसकी वजह से एक मई से अभियान प्रारंभ नहीं किया जा सकेगा। तीन मई को टीके के डोज मिलने की संभावना है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना का टीका 18 वर्ष से अधिक उम्र वाले व्यक्तियों को भी निशुल्क लगाया जाएगा। जैसे-जैसे निर्माता कंपनियों से टीके के डोज प्राप्त होंगे, वैसे-वैसे टीकाकरण किया जाएगा। बैठक में मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस सहित अन्य अधिकारी शामिल हुए।

अस्पतालों में नहीं लगेगा टीका

मुख्यमंत्री ने बैठक में निर्देश दिए कि कोरोना संक्रमण को देखते हुए अस्पतालों में टीके नहीं लगाए जाएं। इसके लिए नए केंद्र स्थापित किए जाएं। दरअसल, अस्तपालों में संक्रमण की संभावना अधिक रहती है और कोरोना संक्रमण की जांच कराने से लेकर अन्य बीमारियों को लेकर व्यक्ति अस्पताल में बड़ी संख्या में आ रहे हैं।

80.66 लाख से ज्यादा लगाए जा चुके हैं डोज

बैठक में बताया गया कि 28 अप्रैल तक 80,66,980 डोज लगाए गए हैं। इनमें से 70,19,763 पहले और 10,47,217 दूसरे डोज लगाए गए हैं। स्वास्थ्यकर्मियों को 7,53,333, फ्रंट लाइन वर्कर्स को 6,54,268, 45 वर्ष से 59 वर्ष के बीच के व्यक्तियों को 33,26,172 तथा 60 वर्ष से अधिक उम्र के व्यक्तियों को 33,33,207 डोज लगाए गए हैं।
वहीं अन्‍य जानकारी के अनुसार कोरोना संक्रमण से बचाव व रोकथाम हेतु आवश्यक दवाओं एवं उपकरणों के साथ रेमडेसिविर इंजेक्शन की उपलब्धता राज्य शासन द्वारा सुनिश्चित की जा रही है। प्रदेश में अब तक 7 विभिन्न कंपनियों से रेमडेसिविर इंजेक्शन के लगभग 2 लाख डोज प्राप्त हुए हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा है कि सभी के निरंतर प्रयासों तथा जनता के सक्रिय सहयोग से अब प्रदेश में कोरोना संक्रमण कम हो रहा है। बड़ी संख्या में मरीज स्वस्थ होकर घर जा रहे हैं। जनता कर्फ्यू का प्रभाव प्रदेश में दिखने लगा है।

एक्टिव मरीजों की संख्या 92,077

प्रदेश में कोरोना के एक्टिव मरीजों की संख्या 94 हजार से अधिक हो गई थी, जो अब 92 हजार 77 रह गई है। पिछले 24 घंटे में 13 हजार 363 मरीज स्वस्थ होकर घर गए हैं। कोरोना के सक्रिय मरीजों की संख्या में 696 की कमी आई है।

साप्ताहिक औसत पॉजिटिविटी रेट 22.7 प्रतिशत

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश की कोरोना पॉजिटिविटी रेट में भी निरंतर गिरावट आ रही है। प्रदेश की साप्ताहिक औसत पॉजिटिविटी रेट 22.7% रह गई है। प्रदेश में 15 अप्रैल को 55 हजार 694 और 22 अप्रैल को 84 हजार 957 सक्रिय मरीज थे, वहीं 29 अप्रैल को 92 हजार 77 सक्रिय मरीज हैं।

भोपाल में सर्वाधिक नए प्रकरण

जिले वार समीक्षा में पाया गया कि भोपाल में सर्वाधिक 1811 नए कोरोना प्रकरण आए हैं। इंदौर में 1789, ग्वालियर में 920, जबलपुर में 741, रीवा में 348, उज्जैन में 308 तथा रतलाम में 296 नए कोरोना प्रकरण आए हैं।

निरंतर बढ़ रही है ऑक्सीजन की उपलब्धता

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में ऑक्सीजन की उपलब्धता निरंतर बढ़ रही है। हवाई मार्ग, रेल मार्ग एवं सड़क मार्ग तीनों से ऑक्सीजन मध्यप्रदेश आ रही है। प्रदेश को 28 अप्रैल को 568.76 मीट्रिक टन ऑक्सीजन प्राप्त हुई। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि सभी जिले आवश्यकतानुसार ऑक्सीजन का उपयोग करें। ऑक्सीजन का अनावश्यक व्यय न किया जाए

 

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