लोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष से हटे चिराग पासवान, सूरजभान बने नए कार्यकारी अध्यक्ष, जानिए आगे और क्या हैं आसार
बिहार की राजनीति के लिए आज की सबसे बड़ी खबर आ गई है। चिराग पासवान को लोजपा संसदीय दल के अध्यक्ष पद के बाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद से हाथ धोना पड़ गया है। सूरजभान को नया कार्यकारी अध्यक्ष बनाने का एलान कर दिया है।
पटना, ऑनलाइन डेस्क। Bihar Politics: बिहार की राजनीति के लिए आज की सबसे बड़ी खबर आ गई है। चिराग पासवान को लोजपा संसदीय दल के अध्यक्ष पद के बाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद से हाथ धोना पड़ गया है। लोजपा नेताओं ने सूरजभान को नया कार्यकारी अध्यक्ष बनाने का एलान कर दिया है। इससे पहले चिराग ने खुद ही राष्ट्रीय अध्यक्ष का पद छोड़ने का प्रस्ताव दिया था, लेकिन उन्होंने अपनी मां और दिवंगत नेता राम विलास पासवान की पत्नी रीना पासवान को राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाने का प्रस्ताव दिया था। लोजपा में चिराग से बगावत करने वाले गुट ने पांच दिनों के अंदर नए राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव कराने का एलान भी किया है। सूरजभान को ही नया चुनाव अधिकारी भी घोषित किया गया है।
लोजपा में उठापटक का फिलहाल अंत नहीं
लोजपा में बगावत की शुरुआत रविवार को ही हो गई थी। रविवार को ही खबरें आईं कि लोजपा के छह में से पांच सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मिलकर अपने नए नेता को चुन लिये जाने की सूचना दी है। दिवंगत नेता राम विलास पासवान के छोटे भाई पशुपति कुमार पारस को लोजपा संसदीय दल का नया नेता चुना गया था। इसे लोकसभा अध्यक्ष ने भी मान्यता दे दी है। अब पार्टी पर कब्जे को लेकर बागी गुट ने कदम आगे बढ़ा दिए हैं।
कौन हैं सूरजभान, ये भी जानिए
सूरजभान लोजपा के पुराने साथी हैं, लेकिन लंबे समय से चुनावी राजनीति से बाहर हैं। हालांकि वे पार्टी के लिए रणनीति बनाने में हमेशा अहम भूमिका अदा करते रहे हैं। उनकी गिनती बिहार के बाहुबली नेताओं में की जाती है। 5 मार्च 1965 को पटना जिले के मोकामा दियारा में उनका जन्म हुआ। एक वक्त इलाके में उनकी दहशत होती थी। बाद में वे मुख्य धारा की राजनीति में आ गए। वे विधायक और सांसद भी रह चुके हैं। वे राम विलास के महत्वपूर्ण सहयोगियों में एक रहे हैं।
जानिए आगे और क्या हैं आसार
लोजपा के बागी गुट ने जल्द ही राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाए जाने की बात कही है। इसमें पार्टी के नए राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव किया जाएगा। ऐसी उम्मीद जताई जा रही है कि पशुपति कुमार पारस को ही नया राष्ट्रीय अध्यक्ष भी चुना जाता है। लोजपा के स्थापना काल के बाद 25 वर्षों से अधिक समय तक राम विलास पासवान खुद ही पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे। उन्होंने अपने रहते चिराग को नया राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाने की घोषणा की थी।
बागी गुट के लिए आसान है रास्ता
उम्मीद है कि पशुपति कुमार पारस के नेतृत्व में बागी गुट नए राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव में आसानी से बाजी मार लेगा। बिहार विधानसभा चुनाव 2020 के दौरान अपनी नीति को लेकर चिराग पार्टी के ज्यादातर नेताओं से नाराजगी मोल ले चुके हैं। उनकी पार्टी का बिहार में अब न तो एक भी विधायक है और न हीं विधान पार्षद। पार्टी के पास बिहार में केवल छह सांसद ही बचे हैं, जिनमें एक चिराग बिल्कुल अकेले खड़े दिख रहे हैं।