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IRCTC: सरकार की बड़ी सौगात: तेजस ट्रेनों में Central Employees कर सकेंगे Free यात्रा

IRCTC: तेजस ट्रेनों को प्रीमियम ट्रेनों की सूची में शामिल करने का निर्देश दिया

 IRCTC Central Employees Tejas Trains। केंद्र सरकार ने सभी केंद्रीय कर्मचारी को एक बड़ा तोहफा दिया है। राजधानी और शताब्दी ट्रेनों के बाद अब केंद्रीय कर्मचारी तेजस ट्रेनों से मुफ्त या रियायती दर पर यात्रा कर सकेंगे। यह छूट उनके आधिकारिक दौरों पर लागू होगी।

इस संबंध में केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने सोमवार को नोटिफिकेशन भी जारी कर दिया है। आपको बता दें के तेजस-राजधानी एक्सप्रेस भारतीय रेलवे की ओर से चलाई जाने वाली एक सेमी-हाई-स्पीड ट्रेन है। इसके कोच अपग्रेड किए गए हैं और इन ट्रेनों में कई तरह की सुविधाएं होती है।

केंद्रीय कर्मचारियों को आधिकारिक दौर में मिलेगा लाभ

मंत्रालय के नोटिस में जानकारी दी गई है कि तेजस एक्सप्रेस ट्रेनों में आधिकारिक दौरे के लिए यात्रा के मामले पर विभाग द्वारा विचार किया गया। केंद्र सरकार के कर्मचारियों को तेजस एक्सप्रेस ट्रेनों से यात्रा करने की अनुमति देने का निर्णय लिया गया। यह विभाग के कार्यालय ज्ञापन के पैरा 2ए (ii) में सूचीबद्ध यात्राओं के अलावा अन्य दौरे/प्रशिक्षण/स्थानांतरण/सेवानिवृत्ति यात्राओं पर लागू होगा। तेजस एक्सप्रेस ट्रेनों में यात्रा करने का अधिकार वही होगा जो शताब्दी ट्रेनों के लिए विभाग के कार्यालय ज्ञापन के पैरा 2ए (ii) में विस्तार से बताया गया है।

पात्रता कर्मचारी के वेतन स्तर पर निर्भर करती

इस संबंध में वित्त मंत्रालय की ओर से 13 जुलाई 2017 को एक ज्ञापन जारी किया गया था। इसके पैरा 2ए (II) के अनुसार, ट्रेन यात्रा के लिए पात्रता कर्मचारी के वेतन स्तर पर निर्भर करती है और यह सरकारी अधिकारियों को प्रीमियम ट्रेनों/प्रीमियम तत्काल ट्रेनों/सुविधा ट्रेनों जैसे राजधानी/शताब्दी/दुरंतो ट्रेनों से यात्रा करने की अनुमति देती है।

तेजस ट्रेनों को प्रीमियम ट्रेनों की सूची में शामिल करने का निर्देश दिया

वित्त मंत्रालय के एक अधिकारी ने तेजस ट्रेनों में फ्री यात्रा पर पूछे गए एक सवाल के जवाब में कहा कि मंत्रालय ने सोमवार को नोटिस जारी कर तेजस ट्रेनों को प्रीमियम ट्रेनों की सूची में शामिल करने का निर्देश दिया है। अब केंद्र सरकार के अधिकारी इसके माध्यम से आधिकारिक रूप से यात्रा कर सकेंगे। ये आदेश भारत के नियंत्रक-महालेखापरीक्षक के परामर्श से जारी किए गए हैं, जैसा कि देश के संविधान के अनुच्छेद 148(5) के तहत अनिवार्य है।’

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